कोटा विकास प्राधिकरण विधेयक 2023 पर रोक लगाने की मांग, बूंदी जिले के 63 गांवों को कोटा विकास प्राधिकरण से हटवाने को लेकर राज्यपाल से मिला भाजपा प्रतिनिधिमंडल

बूंदी जिले के 63 गांवों को कोटा विकास प्राधिकरण (Kota Development Authority Bill 2023) से हटवाने को लेकर राज्यपाल से मिला भाजपा प्रतिनिधिमंडल।
बूंदी जिले के 63 गांवों को कोटा विकास प्राधिकरण (Kota Development Authority Bill 2023) से हटवाने को लेकर राज्यपाल से मिला भाजपा प्रतिनिधिमंडल।

जयपुर। कोटा विकास प्राधिकरण विधेयक 2023 (Kota Development Authority Bill 2023) पर रोक लगाने की मांग को लेकर बूंदी भाजपा (BJP) के मीडिया प्रभारी एंव प्रवक्ता अनिल जैन और किसान नेता गिर्राज गौतम के नेतृत्व में एक प्रतिनिधि मंडल ने मंगलवार को जयपुर में राज्यपाल कलराज मिश्र से मुलाकात कर ज्ञापन सौंपा।

भाजपा जिला प्रवक्ता अनिल जैन तालेड़ा ने कहा कि विधानसभा में 24 जुलाई को सरकार की ओर से एक विधेयक पास किया गया है। जिसमें बूंदी (Bundi) जिले के 63 गांव जिसमें तालेड़ा तहसील के 48 गांव एवं केशोरायपाटन तहसील के 15 गांव को बिना जनमत जाने कोटा विकास प्राधिकरण (Kota Development Authority Bill 2023) में शामिल किया गया है। इस विधेयक का पूरे बूंदी जिले में पुरजोर विरोध है। भू-माफिया अपनी चांदी काटने के लिए केडीए को बूंदी की तरफ बढ़ा रहे हैं।

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ज्ञापन सौंपने के दौरान राज्यपाल ने प्रतिनिधिमंडल को आश्वासन दिया कि इस बिल (Kota Development Authority Bill 2023) को पुनर्विचार के लिए सरकार के पास भिजवाया जाएगा। ज्ञापन सौंपने वाले प्रतिनिधिमंडल में भाजपा नेता नवीन श्रृंगी, लोकेश गौतम, मनोज गुर्जर, शुभम पंचोली, एसनी यादव सहित अन्य लोग शामिल रहे ।

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