राज्य सरकार का दो दिवसीय चिंतन शिविर: मुख्यमंत्री ने आमजन से जुड़े कार्यों में अनावश्यक देरी करने वाले कार्मिकों पर सख्त कार्रवाई के दिए निर्देश, फसल खराबे पर किसानों को 4029 करोड़ रुपए का अनुदान

मंगलवार को मुख्यमंत्री अशोक गहलोत (Chief Minister Ashok Gehlot) ने जयपुर स्थित हरिशचंद्र माथुर लोक प्रशिक्षण संस्थान में आयोजित चिंतन शिविर को संबोधित किया।
मंगलवार को मुख्यमंत्री अशोक गहलोत (Chief Minister Ashok Gehlot) ने जयपुर स्थित हरिशचंद्र माथुर लोक प्रशिक्षण संस्थान में आयोजित चिंतन शिविर को संबोधित किया।

जयपुर। मंगलवार को मुख्यमंत्री अशोक गहलोत (Chief Minister Ashok Gehlot) ने जयपुर (Jaipur) स्थित हरिशचंद्र माथुर लोक प्रशिक्षण संस्थान में आयोजित चिंतन शिविर (Chintan Shivir) के दूसरे दिन संबोधित करते हुए कहा कि राज्य सरकार पारदर्शी, जवाबदेह एवं संवेदनशील सुशासन के माध्यम से प्रत्येक वर्ग के उत्थान के लिए प्राथमिकता से कार्य कर रही है।

उन्होंने कहा कि राज्य सरकार की सभी योजनाओं का समयबद्ध एवं प्रभावी क्रियान्वयन सुनिश्चित किया जाए, ताकि आमजन को इनका पूरा लाभ मिल सके। उन्होंने अधिकारियों को आम लोगों से जुड़े कार्यों के निस्तारण में अनावश्यक देरी करने वाले कार्मिकों के विरूद्ध सख्त कार्रवाई करने के निर्देश दिए।

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शिविर में नगरीय विकास एवं आवासन, पंचायतीराज एवं ग्रामीण विकास, राजस्व, आपदा प्रबंधन एवं सहायता, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग, अल्पसंख्यक मामलात एवं वक्फ, कला, साहित्य, संस्कृति एवं पुरातत्व विभाग के मंत्रियों द्वारा विभागीय कार्यों की प्रगति, बजट घोषणाओं, जन घोषणाओं और अभियानों के बारे में प्रस्तुतीकरण दिया गया।

प्रशासन शहरों के संग अभियान में जारी किए लगभग 6 लाख पट्टे :

नगरीय विकास एवं आवासन विभाग के प्रस्तुतीकरण में बताया गया कि विभाग द्वारा प्रशासन शहरों के संग अभियान में लगभग 6 लाख पट्टे जारी किए गए हैं। अभियान के तहत अब तक करीब 19 लाख प्रकरणों का निस्तारण किया गया है। आवासन मंडल द्वारा 50 प्रतिशत की छूट देकर आमजन को सस्ती दर पर लगभग 14 हजार मकान उपलब्ध कराए गए हैं।अब तक 980 इंदिरा रसोई (Indira Rasoi) की स्थापना की गई है। शहरों में भी रोजगार उपलब्ध कराने के लिए इंदिरा गांधी शहरी रोजगार गारंटी योजना लागू की है। इस योजना के तहत 4 लाख से अधिक जॉब कार्ड बनाए गए हैं। इंदिरा गांधी शहरी क्रेडिट कार्ड योजना के तहत अधिक से अधिक जरूरतमंदों को ऋण उपलब्ध करवाने का कार्य किया जा रहा है। 

जोधपुर (Jodhpur) में बरकतुल्लाह खां स्टेडियम का जीर्णाेद्धार करवाया गया है। साथ ही, करीब 4500 करोड़ रुपए की लागत से कोटा (Kota) को सिग्नल फ्री सिटी बनाने, चंबल रिवर फ्रंट सहित अन्य विकास कार्य कराए जा रहे हैं। जयपुर में विधायक आवास, कॉन्स्टीट्यूशन क्लब, देश का प्रथम कोचिंग हब, आईपीडी टावर, राजस्थान इंटरनेशनल सेंटर, महात्मा गांधी संस्थान तथा गांधी दर्शन म्यूजियम, शहर के प्रमुख चौराहों को सिग्नल फ्री करने सहित कई विकास कार्य तेजी से चल रहे हैं। 

मुख्यमंत्री (Chief Minister) ने कहा कि पट्टे जारी करने की प्रक्रिया का काफी सरलीकरण किया गया है। इसके बावजूद अनावश्यक देरी करने वाले कार्मिकों के विरूद्ध कड़ी कार्रवाई की जाए। उन्होंने कहा कि सभी शहरों में उत्कृष्ट सफाई व्यवस्था सुनिश्चित करने के लिए डंपिंग यार्ड तथा एसटीपी स्थापित किए जा सकते हैं। गहलोत ने कहा कि देश में सफाई में आगे रहने वाले शहरों का अध्ययन कराएं, आवासीय योजनाओं के अधूरे कार्यों को शीघ्र पूरा कराएं। 

ग्रामीण विकास एवं पंचायतीराज विभाग के प्रस्तुतीकरण में बताया गया कि 40 बजट घोषणाओं में से 24 पूरी कर ली गई हैं तथा 16 प्रगतिरत हैं। साथ ही, 30 जनघोषणाओं में से 29 पूरी कर ली गई हैं तथा 1 प्रगतिरत है। प्रदेश में मनरेगा के तहत 25 दिनों का अतिरिक्त रोजगार उपलब्ध कराया जा रहा है। राजीविका के तहत करीब 3 लाख स्वयं सहायता समूहों का गठन कर 37 लाख ग्रामीण परिवारों को लाभान्वित किया जा रहा है तथा 3 हजार 156 करोड़ रुपए की लागत से ग्राम पंचायतों में सड़क विकास का कार्य करवाया जा रहा है।

राजस्व विभाग के प्रस्तुतीकरण में बताया गया कि विभाग की 58 में से 50 बजट घोषणाओं को पूर्ण कर लिया गया है, वहीं 8 प्रगतिरत हैं। सभी 4 जन घोषणाएं पूर्ण कर ली गई है। विभाग द्वारा 5610 पटवारियों को नियुक्ति प्रदान की जा चुकी है। इससे पहले चिंतन शिविर के प्रथम दिन देर रात को कला, साहित्य, संस्कृति एवं पुरातत्व, आपदा प्रबंधन, अल्पसंख्यक मामलात एवं वक्फ, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभागों द्वारा प्रस्तुतीकरण दिया गया। 

फसल खराबे पर किसानों को 4029 करोड़ रुपए का अनुदान:

चिंतन शिविर में आपदा प्रबंधन विभाग के प्रस्तुतीकरण में बताया गया कि विभाग से जुड़ी कुल 9 बजट घोषणाओं में से 5 पूर्ण हो चुकी हैं, जबकि 4 प्रगतिरत हैं। विभाग से संबंधित चारों जन घोषणाएं पूर्ण की जा चुकी हैं। प्रस्तुतीकरण में बताया गया कि सूखे से प्रभावित लगभग 11.28 लाख किसानों को 1080.82 करोड़ रुपए की सहायता राशि उपलब्ध करवाई गयी है। ओलावृष्टि और बारिश से फसलों को हुए नुकसान के दृष्टिगत लगभग 2 लाख किसानों के लिए 172.30 करोड़ रुपए की कृषि आदान-अनुदान राशि जिलों को आवंटित की गई। अकाल से निपटने के लिए गठित राज्य आपदा मोचन निधि के अंतर्गत विभिन्न प्राकृतिक आपदाओं से किसानों की फसल खराब होने पर वर्ष 2019-20 से 2022-23 तक कृषि आदान-अनुदान भुगतान हेतु जिलों को लगभग 4029 करोड़ रुपए का आवंटन किया गया है। मुख्यमंत्री (Chief Minister) ने अधिकारियों को पाले से प्रभावित फसलों की गिरदावरी करवाने के निर्देश दिए।

गहलोत (Chief Minister) ने कहा कि हाल ही जयपुर में हवामहल महोत्सव (Hawamahal Mahotsav) का आयोजन हुआ, उसी तरह से प्रदेश के हर जिले में लोक गीत-संगीत के कार्यक्रम होने चाहिए, ताकि पर्यटकों के साथ-साथ युवा पीढ़ी को भी कला व संस्कृति की जानकारी मिल सके। गहलोत ने सवाई मानसिंह टाउनहॉल के कार्यों को जल्द पूरा करने के निर्देश दिए। 

इससे पहले कला, साहित्य, संस्कृति एवं पुरातत्व विभाग के प्रस्तुतीकरण में बताया गया कि प्रदेश की ऎतिहासिक व सांस्कृतिक विरासतों के सरंक्षण के लिए लगभग 38 करोड़ रूपए के कार्य करवाए गए हैं। राजस्थानी भाषा में फिल्मों को प्रोत्साहन देने के लिए अनुदान दिया जा रहा है। स्मारकों-पैनोरमाओं के रख-रखाव के लिए 1 करोड़ रुपए का बजट आवंटित किया गया है। 

मुख्यमंत्री (Chief Minister) ने कहा कि पर्यटकों के लिए लाइट एंड साउंड शो आयोजित किए जाएं। राजस्थान के लोक कलाकारों के जरिए जनकल्याणकारी योजनाओं के बारे में अधिक से अधिक जागरूकता फैलाई जानी चाहिए, ताकि उन्हें आर्थिक संबल मिल सके।

विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग के प्रस्तुतीकरण में बताया गया कि विभाग द्वारा संचालित योजनाओं में अनुसंधान एवं विकास परियोजनाएं, विद्यार्थी परियोजना, कार्यशाला एवं सम्मेलन तथा यात्रा अनुदान योजना संचालित हैं, जिनके अंतर्गत राज्य के विश्वविद्यालयों, महाविद्यालयों तथा अन्य शैक्षणिक संस्थाओं के विद्यार्थियों को शोध हेतु अनुदान की स्वीकृतियां जारी की गई हैं।

अल्पसंख्यक मामलात एवं वक्फ विभाग के प्रस्तुतीकरण में बताया गया कि 34 बजट घोषणाओं में से 17 पूरी की जा चुकी हैं तथा 17 प्रगतिरत हैं। वहीं कुल 9 जन घोषणाओं में से सभी पूर्ण कर ली गई हैं। अल्पसंख्यकों के समावेशी विकास के लिए 100 करोड़ रुपए के कोष का गठन किया गया है। अल्पसंख्यक विद्यार्थियों के लिए बालिका छात्रावास तथा 16 राजकीय अल्पसंख्यक आवासीय विद्यालय संचालित किए जा रहे हैं। साथ ही, राजकीय छात्रावासों में मैस भत्ते में बढ़ोतरी की गई है। लगभग 42 करोड़ रूपए की लागत से अल्पसंख्यक आवासीय विद्यालयों का निर्माण किया जा रहा है। मदरसा आधुनिकीकरण के लिए 17.44 करोड़ रुपए की प्रशासनिक स्वीकृति जारी की गई है। 

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